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भारत दौरे पर आएंगे रूसी राष्ट्रपति पुतिन: रिपोर्ट

आमिर अंसारी रॉयटर्स, एएनआई | आयुष यादव एएफपी, एपी, डीपीए
प्रकाशित ७ अगस्त २०२५आखिरी अपडेट ७ अगस्त २०२५

भारत, दुनिया, खेल और विज्ञान की सारी बड़ी खबरें, एक साथ और तुरंत. हम यह पेज लगातार अपडेट कर रहे हैं ताकि आपको दिनभर की खबरें एक साथ एक जगह मिल जाएं.

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एक दूसरे से बात करते भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन
तस्वीर: Alexander Zemlianichenko/AP Photo/picture alliance
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जर्मनी और यूक्रेन ने की ट्रंप की तारीफ, कहा- रूस को युद्ध खत्म करना होगा को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

जर्मनी और यूक्रेन ने की ट्रंप की तारीफ, कहा- रूस को युद्ध खत्म करना होगा

रेड कार्पेट पर चलते जर्मनी के चांसलर फ्रीडरिष मैर्त्स और यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की
जर्मनी और यूक्रेन ने ट्रंप की तारीफ कीतस्वीर: Liesa Johannssen/REUTERS

जर्मनी के चांसलर फ्रीडरिष मैर्त्स ने यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की के साथ फोन पर बात की और दोनों नेताओं ने इस बात पर सहमति जताई कि रूस को यूक्रेन में जारी अपना अवैध युद्ध खत्म करना होगा. इस बातचीत के दौरान, उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के हालिया मध्यस्थता प्रयासों की सराहना की और यूरोपीय सहयोगियों और वॉशिंगटन के साथ मिलकर काम करते रहने का वादा किया.

इस फोन कॉल के बाद, जेलेंस्की ने इस बात पर जोर दिया कि यूरोप को भी प्रासंगिक प्रक्रियाओं में एक भागीदार होना चाहिए. उन्होंने तर्क दिया कि यूक्रेन का यूरोपीय संघ का हिस्सा होने और उसकी यूरोपीय संघ में शामिल होने की बातचीत के कारण किसी भी गंभीर मुद्दे पर उसकी बात सुनी जानी जरूरी है. यह बातचीत तब हुई जब क्रेमलिन ने ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच एक बैठक की तैयारी की घोषणा की, जो आने वाले दिनों में हो सकती है.

जेलेंस्की ने एक बार फिर पुतिन से सीधे मिलने की अपनी इच्छा दोहराई और मॉस्को से भी ऐसा ही खुलापन दिखाने का आग्रह किया. उन्होंने कहा कि पुतिन से सीधी मुलाकात ही शांति की दिशा में आगे बढ़ने का एकमात्र तरीका है.

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2024 में जापान की जनसंख्या में रिकॉर्ड गिरावट दर्ज को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

2024 में जापान की जनसंख्या में रिकॉर्ड गिरावट दर्ज

जापान की एक सड़क पर छाता लेकर जाती एक युवती और मौजूद अन्य लोग
तस्वीर: Richard A. Brooks/AFP

जन्म दर में कमी और बूढ़ी होती आबादी से जूझ रहे जापान में आबादी तेजी से घट रही है. जापान के आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक 2024 में जापान की जनसंख्या में रिकॉर्ड गिरावट आई. पिछले साल जापानी लोगों की संख्या 9,08,574 या 0.75 प्रतिशत घटकर 12 करोड़ हो गई. कई विकसित देश जहां कम जन्म दर से जूझ रहे हैं, वहीं जापान में यह समस्या विशेष रूप से गंभीर है, जहां जनसंख्या कई वर्षों से घट रही है. प्रधानमंत्री शिगेरू इशिबा ने इस स्थिति को "शांत आपातकाल" बताया है और इस ट्रेंड को पलटने के लिए अधिक लचीले काम के घंटों और मुफ्त डे-केयर जैसे उपायों का वादा किया है.

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जर्मनी: कोविड के बाद उत्पादन रिकॉर्ड निचले स्तर पर को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

जर्मनी: कोविड के बाद उत्पादन रिकॉर्ड निचले स्तर पर

एक कारखाने में काम करती हुई दो महिलाएं
कोविड के बाद सबसे निचले स्तर पर औद्योगिक उत्पादनतस्वीर: dw

जर्मन संघीय सांख्यिकी कार्यालय (डीस्टाटिस) द्वारा गुरुवार को जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार, जर्मनी का औद्योगिक उत्पादन जून में 2020 में कोविड महामारी के बाद से अपने सबसे निचले स्तर पर आ गया है. डीस्टाटिस ने बताया कि जून में कारखानों का उत्पादन महीने-दर-महीने 1.9 फीसदी गिर गया, जो मई 2020 के बाद का सबसे निचला स्तर है. मशीनरी और दवा क्षेत्रों में विशेष रूप से तेज गिरावट देखी गई. डीस्टाटिस ने मई के औद्योगिक उत्पादन डेटा को भी संशोधित किया, जिसमें पहले 1.2 फीसदी की वृद्धि बताई गई थी, जबकि अब यह 0.1 फीसदी की गिरावट दिखा रहा है.

गुरुवार को जारी आंकड़ों से यह भी पता चला है कि जून में जर्मनी से अमेरिका (जो देश का सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है) को होने वाले निर्यात में 2.1 फीसदी की गिरावट आयी है, जो मई में आई बड़ी गिरावट के बाद है. विशेषज्ञों का कहना है कि यूरोपीय संघ के निर्यात पर अमेरिका का 15 फीसदी टैरिफ, जो गुरुवार से प्रभावी हो गया है, आने वाले महीनों में निर्यात को और भी कम कर सकता है. हालांकि, जून में कुल निर्यात महीने-दर-महीने 0.8 फीसदी बढ़ी है.

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'अलगाववाद' को बढ़ावा देने के आरोप में कश्मीर में 25 किताबों पर बैन को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

'अलगाववाद' को बढ़ावा देने के आरोप में कश्मीर में 25 किताबों पर बैन

कश्मीर में अपनी लाइब्रेरी में किताब पढ़ता एक शख्स
25 किताबों पर लगाया गया बैनतस्वीर: Mohammad Abu Bakar

भारतीय अधिकारियों ने कश्मीर में 25 किताबों पर प्रतिबंध लगा दिया है. उनका कहना है कि ये किताबें इस क्षेत्र में "गलत बातों" और "अलगाववाद" को बढ़ावा देती हैं. इस आदेश के तहत, बुकर पुरस्कार विजेता अरुंधति रॉय, संवैधानिक विशेषज्ञ एजी नूरानी और प्रसिद्ध शिक्षाविदों और इतिहासकारों जैसे सुमंत्र बोस, क्रिस्टोफर स्नेडन और विक्टोरिया स्कोफील्ड की किताबों को बेचना या रखना कानूनी रूप से अपराध होगा.

यह आदेश मंगलवार को क्षेत्र के गृह विभाग द्वारा जारी किया गया. सरकार का दावा है कि ये किताबें अलगाववाद को उकसाती हैं और भारत की संप्रभुता और अखंडता को खतरे में डालती हैं. गृह विभाग ने अपने नोटिस में कहा कि ऐसी किताबें युवाओं को गुमराह करने, आतंकवाद का महिमामंडन करने और भारतीय राज्य के खिलाफ हिंसा भड़काने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं.

रॉयटर्स के अनुसार कश्मीर में एक प्रमुख नेता मीरवाइज उमर फारूक ने कहा, "विद्वानों और प्रतिष्ठित इतिहासकारों की किताबों पर प्रतिबंध लगाने से ऐतिहासिक तथ्य और कश्मीर के लोगों की यादें मिट नहीं जाएंगी." उन्होंने अधिकारियों पर एक तरफ पुस्तक महोत्सव आयोजित करने और दूसरी तरफ कुछ किताबों पर प्रतिबंध लगाने के विरोधाभास पर सवाल उठाया.

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भारत दौरे पर आएंगे रूसी राष्ट्रपति पुतिन: रिपोर्ट को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

भारत दौरे पर आएंगे रूसी राष्ट्रपति पुतिन: रिपोर्ट

भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (फाइल तस्वीर)
भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन (फाइल तस्वीर)तस्वीर: Alexander Zemlianichenko/Pool via REUTERS

भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल ने गुरुवार को बताया कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन जल्द ही भारत दौरे पर आएंगे. डोभाल मॉस्को की यात्रा पर हैं और दोनों देश रक्षा सहयोग को और बढ़ाने का लक्ष्य रखते हैं. डोभाल ने तारीखों का जिक्र नहीं किया, लेकिन इंटरफैक्स समाचार एजेंसी के मुताबिक यह दौरा इस साल के अंत में होने की संभावना है. पुतिन के वार्षिक भारत-रूस द्विपक्षीय शिखर सम्मेलन में भाग लेने की उम्मीद है. दिसंबर 2021 के बाद यह रूसी राष्ट्रपति की पहली भारत यात्रा होगी. अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप रूस से कच्चा तेल खरीदने को लेकर भारत से सख्त नाराज हैं और उन्होंने भारत पर 50 फीसदी टैरिफ लगा दिया है.

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राहुल गांधी ने 'वोट चोरी' के आरोपों पर चुनाव आयोग को घेरा को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

राहुल गांधी ने 'वोट चोरी' के आरोपों पर चुनाव आयोग को घेरा

राहुल गांधी ने बीजेपी और चुनाव आयोग पर मिलीभगत के आरोप लगाए (फाइल तस्वीर)
राहुल गांधी ने बीजेपी और चुनाव आयोग पर मिलीभगत के आरोप लगाए (फाइल तस्वीर)तस्वीर: Indian National Congress party

कांग्रेस नेता और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को एक प्रेस वार्ता में भारत के चुनाव आयोग (ईसीआई) की मिलीभगत से 2024 के लोकसभा चुनावों के बाद से मतदाता सूची में बड़े पैमाने पर "धोखाधड़ी" के आरोप लगाए. महाराष्ट्र का उदाहरण देते हुए उन्होंने दावा किया कि भारत का चुनाव आयोग और बीजेपी चुनावों को "चुराने" के लिए मिलीभगत कर रहे हैं. उन्होंने कहा, "महाराष्ट्र में पांच महीनों में जितने मतदाता जुड़े, उतने पांच साल में नहीं जुड़े. लोकसभा चुनाव में हमारा गठबंधन विजयी हुआ. विधानसभा चुनाव में हमें करारी हार का सामना करना पड़ा. विधानसभा चुनाव में एक करोड़ नए मतदाताओं ने वोट डाला."

राहुल गांधी ने कहा कि उनकी जांच कर्नाटक की महादेवपुरा विधानसभा सीट पर केंद्रित थी. उन्होंने कहा, "हमारे आंतरिक सर्वेक्षण में हमें बताया गया था कि हम कर्नाटक में 16 (लोकसभा) सीटें जीतेंगे, हमने नौ सीटें जीतीं. फिर हमने सात अप्रत्याशित हारों पर ध्यान केंद्रित किया. हमने एक लोकसभा सीट चुनी, और हमारी टीम ने तय किया कि हम केवल एक विधानसभा सीट पर ही ध्यान केंद्रित कर सकते हैं. इसलिए हमने महादेवपुरा पर ध्यान केंद्रित किया."

उन्होंने आगे कहा, "बेंगलुरु सेंट्रल लोकसभा में कुल 6.26 लाख वोट पड़े. बीजेपी ने 32,707 के अंतर से 6,58,915 वोटों के साथ जीत हासिल की. फिर, हमने महादेवपुरा पर गौर किया, जहां कांग्रेस को 1,15,586 वोट मिले और भाजपा को 2,29,632. कांग्रेस ने सभी विधानसभाओं में जीत हासिल की, सिवाय इस एक सीट के. इस सीट ने उन्हें चुनाव जिताया. महादेवपुरा सीट हम 32,707 से वोटों से हार गए"

एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के मुताबिक जब राहुल गांधी की प्रेस वार्ता चल रही थी तब कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी के कार्यालय ने कांग्रेस नेता से राज्य की मतदाता सूची की जांच की मांग करते हुए एक घोषणापत्र पेश करने को कहा.

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जल्द हो सकती है ट्रंप और पुतिन की मुलाकात, रूस ने दी जानकारी को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

जल्द हो सकती है ट्रंप और पुतिन की मुलाकात, रूस ने दी जानकारी

एक दूसरे से बात करते अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन
जल्द हो सकती है ट्रंप और पुतिन की मुलाकाततस्वीर: Evan Vucci/AP/dpa/picture alliance

क्रेमलिन ने गुरुवार को घोषणा की कि अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच एक शिखर सम्मेलन आने वाले दिनों में होगा. दोनों पक्ष पहले ही सैद्धांतिक रूप से बैठक के स्थान पर सहमत हो गए हैं.

यह शिखर सम्मेलन ट्रंप के यूक्रेन पर रूस के सैन्य हमले को समाप्त करने के प्रयास के बीच हो रहा है. जून 2021 में जिनेवा में जो बाइडेन और पुतिन की मुलाकात के बाद यह अमेरिकी और रूसी राष्ट्रपतियों के बीच पहली बैठक होगी. मॉस्को और कीव के बीच सीधी बातचीत के तीन दौरों के बावजूद युद्धविराम की दिशा में कोई प्रगति नहीं हो पाई है, और दोनों पक्ष अपनी मांगों को लेकर बहुत दूर हैं. ट्रंप ने 6 अगस्त को कहा था कि वह बहुत जल्द पुतिन से आमने-सामने मिलने की संभावना रखते हैं.

क्रेमलिन के सहायक यूरी उशाकोव ने रूसी समाचार एजेंसियों को बताया, "अमेरिकी पक्ष के सुझाव पर, आने वाले दिनों में एक द्विपक्षीय शिखर सम्मेलन आयोजित करने के लिए सैद्धांतिक रूप से एक समझौता हुआ है." उशाकोव ने कहा, "हम अब अपने अमेरिकी सहयोगियों के साथ मिलकर इस पर काम करना शुरू कर रहे हैं." हालांकि क्रेमलिन ने कहा कि स्थान सैद्धांतिक रूप से तय हो गया है, लेकिन यह नहीं बताया कि शिखर सम्मेलन कहां होगा.

आगामी शिखर सम्मेलन की घोषणा अमेरिकी दूत स्टीव विटकॉफ की मॉस्को में पुतिन से मुलाकात के एक दिन बाद हुई है. उशाकोव ने बताया कि विटकॉफ ने यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की के साथ त्रिपक्षीय बैठक का प्रस्ताव रखा था, लेकिन रूस ने उस प्रस्ताव पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी. जेलेंस्की ने गुरुवार को पुतिन के साथ बैठक के लिए अपनी अपील, यह कहते हुए दोहराई थी कि शांति की दिशा में प्रगति करने का यही एकमात्र तरीका है.

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टैरिफ क्या हैं और उनका महत्व क्या है? को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

टैरिफ क्या हैं और उनका महत्व क्या है?

टैरिफ से जुड़ी जानकारियों को दिखाते अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप
7 अगस्त से कई देशों पर लागू हुई टैरिफ की नई दरेंतस्वीर: Mark Schiefelbein/AP Photo/picture alliance

टैरिफ, जिसे शुल्क भी कहा जाता है, आयातित सामानों पर लगाया जाने वाला एक प्रकार का टैक्स है, हालांकि इसे कभी-कभी निर्यात पर भी लगाया जा सकता है. यह आमतौर पर किसी वस्तु के मूल्य का एक प्रतिशत होता है और इस बात पर आधारित होता है कि वह वस्तु कहां से आती है या वह किस प्रकार की है. आयात शुल्क का भुगतान उन कंपनियों द्वारा अमेरिकी सरकार को किया जाता है जो अपना सामान देश में लाती हैं. संयुक्त राज्य अमेरिका ने हाल ही में अपने दर्जनों व्यापारिक साझेदारों, कुल मिलाकर लगभग 70 देशों पर विभिन्न प्रकार के टैरिफ लागू किए हैं.

राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप का कहना है कि ये टैरिफ अमेरिकी विनिर्माण को बढ़ावा देंगे और रोजगार की रक्षा करेंगे. इसका विचार यह है कि जब विदेशी सामान महंगे हो जाएंगे, तो स्थानीय स्तर पर बने उत्पाद अधिक प्रतिस्पर्धी हो जाएंगे. सरकार को इन टैरिफ से राजस्व भी मिल सकता है. टैरिफ के मुख्य उद्देश्यों में से एक घरेलू उद्योगों की रक्षा करना है, जिससे स्थानीय उत्पादन को प्रोत्साहन मिलता है. टैरिफ का उपयोग व्यापार असंतुलन को ठीक करने, मानवाधिकारों या सुरक्षा चिंताओं जैसे मुद्दों पर अन्य देशों पर दबाव डालने के लिए एक राजनीतिक उपकरण के रूप में भी किया जा सकता है.

अर्थशास्त्रियों ने चेतावनी दी है कि टैरिफ के कारण अमेरिकी मुद्रास्फीति दर बढ़ सकती है, क्योंकि कंपनियां अपनी बढ़ी हुई लागत का कुछ हिस्सा या पूरा हिस्सा अमेरिकी उपभोक्ताओं पर डाल सकती हैं. उन्हें यह भी डर है कि लंबे समय में यह आर्थिक विकास को बाधित कर सकता है. अमेरिकी टैरिफ का वैश्विक अर्थव्यवस्था पर भी असर पड़ेगा, क्योंकि वे आपूर्ति श्रृंखलाओं को बाधित करते हैं, उत्पादन लागत बढ़ाते हैं और व्यापारिक भागीदारों को जवाबी कार्रवाई के लिए प्रेरित करते हैं. इसके परिणामस्वरूप कम व्यापार, धीमी आर्थिक वृद्धि और वैश्विक बाजारों में अनिश्चितता बढ़ सकती है. संक्षेप में, टैरिफ एक जटिल उपकरण है जिसका इस्तेमाल विभिन्न आर्थिक और राजनीतिक लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए किया जा सकता है, लेकिन इसमें महत्वपूर्ण जोखिम भी होते हैं जो घरेलू और वैश्विक दोनों अर्थव्यवस्थाओं को प्रभावित कर सकते हैं.

एशियाई देशों का कारोबार छीन भारत को देंगे टैरिफ

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स्पेन के शहर में सार्वजनिक स्थानों पर मुस्लिम त्योहारों पर प्रतिबंध को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

स्पेन के शहर में सार्वजनिक स्थानों पर मुस्लिम त्योहारों पर प्रतिबंध

बांग्लादेश की एक मस्जिद के बाहर नमाज पढ़ने के लिए जमा लोग
सार्वजनिक स्थानों पर मुस्लिम त्योहारों पर प्रतिबंधतस्वीर: DW

दक्षिण-पूर्वी स्पेन के मर्सिया प्रांत में स्थित जुमिला शहर के स्थानीय प्राधिकरण ने मुसलमानों को ईद-उल-फितर और ईद-उल-अजहा जैसे धार्मिक त्योहारों को मनाने के लिए सार्वजनिक सुविधाओं, जैसे नागरिक केंद्रों और जिम का उपयोग करने से प्रतिबंधित कर दिया है. स्पेन में इस तरह का यह पहला प्रतिबंध है. यह प्रतिबंध रूढ़िवादी पीपुल्स पार्टी (पीपी) द्वारा लाया गया था और धुर-दक्षिणपंथी वोक्स पार्टी के विरोध न करने और वामपंथी दलों के विरोध के साथ पारित किया गया.

प्रस्ताव में कहा गया है कि नगरपालिका खेल सुविधाओं का उपयोग हमारी पहचान से अलग धार्मिक, सांस्कृतिक या सामाजिक गतिविधियों के लिए नहीं किया जा सकता, जब तक कि उन्हें स्थानीय प्राधिकरण द्वारा आयोजित न किया जाए. स्थानीय वोक्स पार्टी ने एक्स पर पोस्ट किया, "वोक्स के कारण स्पेन के सार्वजनिक स्थानों पर इस्लामी त्योहारों पर प्रतिबंध लगाने का पहला उपाय पारित हो गया है. स्पेन ईसाई लोगों की भूमि है और हमेशा रहेगी."

स्पेनिश फेडरेशन ऑफ इस्लामिक ऑर्गेनाइजेशंस के अध्यक्ष मुनीर अजहरी ने अल पाइस अखबार को बताया कि यह प्रस्ताव इस्लामोफोबिक और भेदभावपूर्ण है. जुमिला शहर की आबादी लगभग 27,000 है, जिसमें से 7.5 फीसदी लोग मुख्य रूप से मुस्लिम देशों से आते हैं.

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उधमपुर: गहरी खाई में गिरी CRPF जवानों की गाड़ी, तीन की मौत को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

उधमपुर: गहरी खाई में गिरी CRPF जवानों की गाड़ी, तीन की मौत

गहरी खाई में गिरी सीआरपीएफ जवानों की गाड़ी (फाइल तस्वीर)
गहरी खाई में गिरी सीआरपीएफ जवानों की गाड़ी (फाइल तस्वीर)तस्वीर: Nasir Kachroo/NurPhoto/picture alliance

जम्मू-कश्मीर के उधमपुर जिले में कंडवा-बसंतगढ़ इलाके में सीआरपीएफ का वाहन दुर्घटनाग्रस्त होने से तीन जवानों की जान चली गई. यह हादसा गुरुवार सुबह 10:00 बजे के करीब हुआ, जब जवान बसंतगढ़ से लौट रहे थे. मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक वाहन सीआरपीएफ की 187 बटालियन का था. वाहन में 23 जवान सवार थे. दो जवानों की मौके पर ही मौत हो गई जबकि 16 अन्य घायल हो गए. उन्हें एक अस्पताल ले जाया गया, जहां एक और जवान की इलाज के दौरान मौत हो गई.

जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने घटना पर दुःख जताया है. उन्होंने एक्स पर लिखा, "उधमपुर के पास एक दुर्घटना में सीआरपीएफ कर्मियों की मृत्यु से दुखी हूं. हम राष्ट्र के प्रति उनकी अनुकरणीय सेवा को कभी नहीं भूलेंगे. मेरी संवेदनाएं शोक संतप्त परिवारों के साथ हैं. घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं."

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अमेरिकी टैरिफ के बावजूद जुलाई में चीन के निर्यात में 7.2% की वृद्धि को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

अमेरिकी टैरिफ के बावजूद जुलाई में चीन के निर्यात में 7.2% की वृद्धि

अमेरिका और चीन का झंडा
जुलाई में बढ़ा चीन का निर्याततस्वीर: imago images/Dreamstime

7 अगस्त को ट्रंप प्रशासन द्वारा दुनिया भर के देशों पर लगाए गए टैरिफ का चीन पर सीधा असर नहीं पड़ा, क्योंकि दोनों देशों के बीच व्यापार वार्ता चल रही है और उनकी टैरिफ समय-सीमा अलग है. अमेरिका और चीन ने मई में 90 दिन का समझौता किया था. इसके तहत वॉशिंगटन ने चीन से आयातित सामानों पर टैरिफ को 145% से घटाकर 30% कर दिया था, जबकि बीजिंग ने अमेरिकी सामानों पर जवाबी टैरिफ को 125% से घटाकर 10% कर दिया था.

गुरुवार को जारी किए गए आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, जुलाई में चीन का कुल निर्यात पिछले साल की तुलना में 7.2% बढ़ा है. हालांकि, अमेरिकी टैरिफ के कारण अमेरिका को होने वाले निर्यात में साल-दर-साल 21.7% की गिरावट आई है. चीन ने इस नुकसान की भरपाई अन्य बाजारों में अपने निर्यात को बढ़ाकर की है. यूरोपीय संघ को होने वाले शिपमेंट में 9.2% की वृद्धि हुई, जबकि आसियान देशों को होने वाले निर्यात में 16.6% की वृद्धि दर्ज की गई. अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने मंगलवार को कहा कि अमेरिका चीन के साथ एक व्यापार समझौते के करीब है. उन्होंने यह भी कहा कि अगर कोई समझौता हो जाता है, तो वह साल के अंत से पहले अपने चीनी समकक्ष शी जिनपिंग से मिलेंगे.

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सरकारी योजनाओं से एमके स्टालिन का नाम हटाने के आदेश को सुप्रीम कोर्ट ने रद्द किया को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

सरकारी योजनाओं से एमके स्टालिन का नाम हटाने के आदेश को सुप्रीम कोर्ट ने रद्द किया

एक कार्यक्रम में बोलते हुए तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन
सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ता पर लगाया जुर्मानातस्वीर: Arun Sankar/AFP/Getty Images

भारतीय सुप्रीम कोर्ट ने 6 अगस्त को मद्रास हाई कोर्ट के उस आदेश को रद्द कर दिया, जिसमें तमिलनाडु सरकार की योजनाओं में मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के नाम के इस्तेमाल पर रोक लगा दी गई थी. सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ता, एआईएडीएमके सांसद सी वी शनमुगम की आलोचना करते हुए कहा कि जब अन्य राज्यों में भी ऐसी ही योजनाएं मौजूद हैं, तो उन्होंने केवल तमिलनाडु सरकार और उसके मुख्यमंत्री को क्यों निशाना बनाया.

लाइव लॉ की खबर के अनुसार, सुप्रीम कोर्ट ने कहा, "जब ऐसी योजनाएं सभी राजनीतिक दलों के नेताओं के नाम पर शुरू की जाती हैं, तो हम याचिकाकर्ता की केवल एक राजनीतिक पार्टी और एक राजनीतिक नेता को चुनने की उत्सुकता की सराहना नहीं करते हैं." सुप्रीम कोर्ट ने मद्रास हाई कोर्ट के आदेश को रद्द करते हुए याचिकाकर्ता सांसद पर 10 लाख रुपये का जुर्माना लगाया और निर्देश दिया कि यह राशि राज्य के पास जमा की जाए और इसका उपयोग वंचितों के लिए बनाई गई योजनाओं के लाभ के लिए किया जाए.

मद्रास हाई कोर्ट ने 31 जुलाई को यह आदेश पारित किया था, जिसमें सरकारी कल्याणकारी योजनाओं में पूर्व मुख्यमंत्रियों या जीवित राजनीतिक शख्सियतों के नाम के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगा दिया गया था. इस आदेश में किसी भी जीवित व्यक्ति, पूर्व मुख्यमंत्रियों या वैचारिक नेताओं की तस्वीरों, और सत्तारूढ़ डीएमके सहित राजनीतिक दलों के पार्टी प्रतीकों, प्रतीक चिह्नों या झंडों के उपयोग पर भी रोक लगाई गई थी.

सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा कि अदालतों को राजनीतिक लड़ाइयों से बाहर रखा जाना चाहिए. कोर्ट ने नोट किया कि याचिकाकर्ता ने चुनाव आयोग में एक आवेदन जमा करने के तीन दिनों के भीतर ही हाई कोर्ट का रुख कर लिया था, जिसे कोर्ट ने कानूनी प्रक्रिया का दुरुपयोग बताया.

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जुलाई 2025 धरती का तीसरा 'सबसे गर्म' महीना रहा को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

जुलाई 2025 धरती का तीसरा 'सबसे गर्म' महीना रहा

इटली के रोम शहर में गर्मी से बेहाल एक बच्चा अपने ऊपर पानी डालते हुए
दुनिया का औसत सतह वायु तापमान 16.68 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गयातस्वीर: Antonio Denti/REUTERS

इस साल का जुलाई का महीना, रिकॉर्ड शुरू होने के बाद से दुनिया भर में तीसरा सबसे गर्म महीना दर्ज किया गया है. जलवायु विशेषज्ञों ने गुरुवार को यह जानकारी दी. जुलाई में दुनिया का औसत सतह वायु तापमान 16.68 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया, जो 1991-2020 के औसत से 0.45 डिग्री सेल्सियस ज्यादा था.

रिकॉर्ड तोड़ तापमान का सिलसिला जुलाई में रुक गया. यूरोपीय संघ की कोपरनिकस क्लाइमेट चेंज सर्विस के निदेशक कार्लो बोन्टेंपो ने रॉयटर्स से कहा, "रिकॉर्ड पर सबसे गर्म जुलाई के दो साल बाद, वैश्विक तापमान के रिकॉर्ड का हाल का सिलसिला खत्म हो गया है." उन्होंने आगे कहा, "लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि जलवायु परिवर्तन रुक गया है. हम एक गर्म होती दुनिया के प्रभावों को देखना जारी रखे हुए हैं."

भले ही इस जुलाई का तापमान जुलाई 2023 के सबसे गर्म महीने और जुलाई 2024 के दूसरे सबसे गर्म महीने जितना अधिक नहीं था, फिर भी यह 1850-1900 के पूर्व-औद्योगिक काल के औसत से 1.25 डिग्री सेल्सियस ऊपर था. बोन्टेंपो ने कहा, "हमने जुलाई में अत्यधिक गर्मी और विनाशकारी बाढ़ जैसी घटनाओं में एक गर्म होती दुनिया के प्रभाव को देखना जारी रखा."

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आयरलैंड में 6 साल की बच्ची से कहा, "भारत वापस चले जाओ" को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

आयरलैंड में 6 साल की बच्ची से कहा, "भारत वापस चले जाओ"

आयरलैंड में भारतीय मूल की बच्ची पर नस्लीय हमला (फाइल तस्वीर)
आयरलैंड में भारतीय मूल की बच्ची पर नस्लीय हमला (फाइल तस्वीर)तस्वीर: Charles McQuillan/Getty Images

आयरलैंड के वॉटफोर्ड शहर में 6 साल की भारतीय मूल की बच्ची पर नस्लीय हमला हुआ है. यह हमला किशोरों के एक समूह ने किया. इस समूह ने बच्ची के प्राइवेट पार्ट पर साइकिल से हमला किया और बच्ची के चेहरे पर मुक्के मारे. एनडीटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक 12 से 14 साल के बच्चों के समूह ने बच्ची को 'गंदी' कहते हुआ कहा कि "भारत वापस चले जाओ". बच्ची की मां 8 साल से आयरलैंड में रह रही है और पेशे से एक नर्स है. अनुपा अच्युतन ने आयरिश मिरर को बताया कि गिरोह ने उनकी बेटी के चेहरे पर मुक्के मारे, उसके प्राइवेट पार्ट पर साइकिल से हमला किया, उसकी गर्दन पर घूंसे मारे और उसके बाल भी खींचे.

अच्युतन अपने पति के साथ आठ साल से आयरलैंड में रह रही हैं और हाल ही में उन्हें आयरिश नागरिकता मिली है. उनके बच्चों का जन्म भी यहीं हुआ था. परिवार जनवरी में आयरलैंड के अपने नए घर में रहने आया था, और सोमवार की घटना तक सब कुछ ठीक चल रहा था.

बच्ची की मां ने घटना की शिकायत आयरिश पुलिस से की है. लेकिन उन्होंने किसी सजा की मांग नहीं की है. उन्होंने कहा कि इन बच्चों को सजा देने के बजाय उनकी काउंसलिंग की जाए. उन्हें समझाया जाए कि इस तरह का बर्ताव करना किसी के साथ भी गलत है.

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ट्रंप टैरिफ: भारतीय निर्यातकों ने कहा 50% शुल्क गंभीर झटका को स्किप करें
७ अगस्त २०२५

ट्रंप टैरिफ: भारतीय निर्यातकों ने कहा 50% शुल्क गंभीर झटका

ट्रंप के टैरिफ का असर निर्यात पर पड़ेगा
ट्रंप के टैरिफ का असर निर्यात पर पड़ेगातस्वीर: picture-alliance/dpa/F. Bründel

भारतीय निर्यातकों ने चेतावनी दी है कि अतिरिक्त अमेरिकी टैरिफ से कारोबार को गंभीर झटका लगेगा. अमेरिका ने भारत पर रूसी तेल खरीदने की वजह से 25% का अतिरिक्त टैरिफ लगाया है. ट्रंप के अतिरिक्त टैरिफ का असर गुरूवार को भारतीय शेयर बाजार पर भी नजर आया. सेंसेक्स और निफ्टी दोनों ही लाल निशान पर खुले. भारत के विदेश मंत्रालय ने ट्रंप की अतिरिक्त टैरिफ की घोषणा की निंदा करते हुए इस कदम को "दुर्भाग्यपूर्ण, अनुचित, अन्यायपूर्ण और असंगत" बताया था.

भारतीय निर्यात संगठनों के महासंघ (फियो) के अध्यक्ष एससी रल्हन ने कहा, "यह कदम भारतीय निर्यात के लिए एक गंभीर झटका है, क्योंकि अमेरिकी बाजार में हमारे लगभग 55 फीसदी सामान सीधे तौर पर प्रभावित हुए हैं. कुल 50 प्रतिशत जवाबी शुल्क प्रभावी रूप से कीमत को बहुत बढ़ा देगा."

रल्हन ने कहा, "कई निर्यात ऑर्डर पहले ही रोक दिए गए हैं, क्योंकि खरीदार सोर्सिंग संबंधी निर्णयों का पुनर्मूल्यांकन कर रहे हैं."

कैपिटल इकोनॉमिक्स के शिलान शाह ने एक नोट में कहा, "अगर राष्ट्रपति ट्रंप द्वारा भारत से आयात पर घोषित अतिरिक्त 25 प्रतिशत टैरिफ लागू रहता है, तो उभरते मैन्युफैक्चरिंग केंद्र के रूप में भारत का आकर्षण काफी कम हो जाएगा."

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