रूस के बड़े परमाणु बिजलीघर पर यूक्रेन का ड्रोन हमला
२४ अगस्त २०२५रूसी अधिकारियों का कहना है कि यूक्रेन ने देश के सबसे बड़े परमाणु बिजलीघरों में शामिल कुर्स्क न्यूक्लियर पावर प्लांट पर ड्रोन हमला किया है. कुर्स्क स्थित यह परमाणु बिजलीघर, यूक्रेन की सीमा से सिर्फ 60 किलोमीटर दूर है. रूसी रक्षा मंत्रालय के मुताबिक, 24 अगस्त को रूस के कई इलाकों में यूक्रेन ने ड्रोनों से बड़े हमले किए. इस दौरान कम से कम 95 ड्रोनों को इंटरसेप्ट किया गया.
रूस का दावा है कि कुर्स्क परमाणु बिजलीघर के पास एक ड्रोन को निशाना बनाया गया, लेकिन ड्रोन प्लांट के पास फटा और धमाके में एक ट्रांसफॉर्मर को नुकसान पहुंचा. इसकी वजह से रिएक्टर 3 से सिर्फ 50 फीसदी बिजली ही मिल रही है. यूक्रेन ऐसे हमले पहले भी कर चुका है.
1991 में सोवियत संघ से अलग हुआ यूक्रेन 24 अगस्त को अपना स्वतंत्रता दिवस मनाता है. रविवार को कीव समेत यूक्रेन के कई शहरों में धूमधाम से स्वतंत्रता दिवस मनाया गया. इस मौके पर यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने कहा कि उनका देश, रूस को अपनी जरा भी जमीन नहीं देगा. स्वतंत्रता दिवस के मौके पर यूरोप के कई नेताओं ने भी कीव को बधाई दी और 2022 से चले आ रहे यूक्रेन युद्ध में उसके साथ खड़े रहने का वादा किया.
विकिरण का स्तर सामान्य
संयुक्त राष्ट्र की परमाणु ऊर्जा एजेंसी, आईएईए ने कुर्स्क के आस पास नाभिकीय विकिरण को सामान्य बताया है. सोशल नेटवर्किंग साइट एक्स पर आईएईए ने लिखा, "निगरानी, कुर्स्क एनपीपी (न्यूक्लियर पावर प्लांट) के पास विकिरण के सामान्य स्तर की पुष्टि करती है."
आईएईए ने दोनों देशों से अपील की है कि वे लगातार हर एक परमाणु केंद्र की हिफाजत करें.
प्लांट अधिकारियों के मुताबिक ड्रोन की वजह से लगी आग में कोई हताहत नहीं हुआ है.
रूसी रिफाइनरी पर भी ड्रोन हमले
शनिवार की रात, रूस-यूक्रेन बॉर्डर से हजारों किलोमीटर दूर उत्तर में फिनलैंड की खाड़ी के पास भी यूक्रेनी ड्रोनों ने रूस के एक बड़े तेल प्लांट पर हमला किया. इस दौरान रूस के उत्तरी लेनिनग्राद इलाके में उस्त-लुगा पोर्ट को निशाना बनाया गया. रूस के एयर डिफेंस ने वहां कम से कम 10 ड्रोन गिराए, लेकिन जलता हुआ मलबा नोवातेक टर्मिनल तक पहुंच गया और वहां भीषण आग लग गई.
लेनिनग्राद के गर्वनर आलेक्जेंडर द्रोजदेंको के मुताबिक, हमले में कोई हताहत नहीं हुआ है. रूसी टेलीग्राम चैनल पर शेयर किए जा रहे कुछ वीडियो में फ्यूल टर्मिनल में धमाके के बाद आग का बड़ा गोला दिखाई दे रहा है.
नोवाटेक के मुताबिक, उस्त-लुगा फैसिलिटी 2013 से चल रही है. वहां गैस को प्रोसेस हल्के और भारी नैफ्था, जेटल फ्यूल और पेट्रोल में बदला जाता है. कंपनी के मुताबिक, वहां से अंतराष्ट्रीय बाजार को कई तरह की फ्यूल सप्लाई की जाती है.
रूसी और यूक्रेनी सरकार के बड़े नेताओं ने इन हमलों पर अब तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है.