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क्या टेस्ला से यूरोप को दूर कर रहा है इलॉन मस्क का रवैया

९ फ़रवरी २०२५

इलॉन मस्क का धुर दक्षिणपंथियों को समर्थन क्या यूरोप में टेस्ला कारों के लिए मुश्किल खड़ी कर सकता है. बिक्री के आंकड़ों में यह दिखने के बाद विश्लेषकों का कहना है कि लोग टेस्ला कारों से दूर जा सकते हैं.

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जर्मनी में टेस्ला के प्लांट से निकलती नई कारें
यूरोप में सिर्फ जर्मनी में ही टेस्ला कार का प्लांट मौजूद हैतस्वीर: Christian Marquardt/Getty Images

जर्मनी और फ्रांस दोनों जगह इलेक्ट्रिक कारों की अगुआ मानी जाने वाली टेस्ला कारों की बिक्री साल दर साल के आधार पर जनवरी में आधी हो गई. टेस्ला को निशाना बनाने की छिटपुट घटनाओं ने कार खरीदारों और उद्योग के विशेषज्ञ दोनों को चिंता में डाला है.

टेस्ला कारों की बिक्री में भारी कमी

जर्मन कार उद्योग के विशेषज्ञ फर्डिनांड डुडेनहोएफर का कहना है, "कोई भी मस्क के रवैये के साथ खुद को जोड़ना नहीं चाहता." इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि ब्रांड और उसके बॉस "लगभग अभिन्न" हैं.

इलॉन मस्क का विरोध खासतौर से जर्मनी में ज्यादा प्रबल है. मस्क ने यहां धुर दक्षिणपंथी पार्टी एएफडी के समर्थन में आवाज बुलंद करके अपने लिए विरोध पैदा कर लिया है. अल्टरनेटिव फॉर डॉयचलैंड यानी एएफडी जर्मनी की राजनीति में किसी वर्जना की तरह है. देश का नाजी इतिहास यहां के लोगों के लिए आज भी एक संवेदनशील मुद्दा है. जर्मन टेस्ला कारों पर ऐसे स्टिकर नजर आने लगे हैं, जिन पर लिखा है, "मैंने यह कार इलॉन के पागल होने से पहले खरीदी थी." ऐसे स्टिकर अमेरिका में भी दिखते हैं.

इस साल जनवरी महीने में टेस्ला की नई कारों का रजिस्ट्रेशन घट कर 1,277 पर आ गया. यह पिछले साल यानी 2024 की जनवरी के मुकाबले करीब 59.5 फीसदी कम है. वैसे टेस्ला की कारों की बिक्री में कमी पहले ही शुरू हो गई थी. 2024 में टेस्ला की कारों की बिक्री का आंकड़ा करीब 24,000 घट कर 38,000 के नीचे आ गया. जबकि 2022 तक देश में सबसे ज्यादा इलेक्ट्रि कारें टेस्ला की ही बिकती थीं. फिलहाल यह कंपनी जर्मनी में तीसरे नंबर पर आ गई है. इलेक्ट्रिक कारों के बाजार में इसकी हिस्सेदारी 9.9 फीसदी पर सिमट गई है. ये आंकड़े संघीय मोटर परिवहन प्राधिकरण, क्राफ्टफार्ट बुंडसआम्ट (बीकेए) ने जारी किए हैं. पूरे यूरोप में सिर्फ जर्मनी में ही टेस्ला का प्लांट है.

इलॉन मस्क और एफडी की नेता एलिस वाइडेल की तस्वीर
मस्क ने जर्मनी की धुर दक्षिणपंथी पार्टी का पुरजोर समर्थन किया हैतस्वीर: Beata Zawrzel/Fabian Bimmer/picture alliance/REUTERS

एएफडी को समर्थन से बढ़ी मुश्किल

दुनिया के सबसे अमीर आदमी इलॉन मस्क की ट्रंप की रैली में नाजी सल्यूट जैसी मुद्राओं पर भी काफी बवाल मचा. हालांकि मस्क इन आरोपों से इनकार करते हैं. जनवरी के आखिर में कार्यकर्ताओं ने बर्लिन के नजदीक टेस्ला के प्लांट के बाहर मस्क की मुद्रा की एक बड़ी तस्वीर लगाई और उसके नीचे "हाइल" लिख दिया.

जर्मन कार उद्योग के विशेषज्ञ माथियास श्मिट का कहना है, "जर्मनी अपने इतिहास को लेकर बेहद संवेदनशील है और मस्क के राजनीतिक नारे खासतौर से बहुत जहरीले हैं, इसके साथ ही टेस्ला के ग्राहक कुछ हद तक पर्यावरण की चिंताओं से भी प्रभावित हैं."

60 साल के एरिको परानो का कहना है, "कार अच्छी है." हालांकि फ्रैंकफर्ट के इस बैंक एग्जिक्यूटिव का यह भी कहना है कि वह, "इसे (आज) ट्रंप के रवैये के कारण खरीदने से पहले बहुत ध्यान से" सोचेंग. परानो ने यह भी कहा कि वह टेस्ला में अपने शेयर बेचने पर विचार कर रहे हैं. 

पुरानी टेस्ला खरीदने फ्रेंच युवा डॉक्टर आड्रियान ने समाचार एजेंसी एएफपी से कहा, "इस आदमी को पैसा देना डरावना है." आड्रियान का कहना है कि अगर दुनिया ने इलेक्ट्रिक कारों की तरफ जाना बंद कर दिया तो पर्यावरण के लिए भारी तबाही होगी.

अमेरिका के राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप और टेस्ला के मालिक इलॉन मस्क
डॉनल्ड ट्रंप से मस्क की नजदीकियां भी यूरोपीय लोगों को बहुत पसंद नहीं आ रही हैंतस्वीर: Alex Brandon/AP Photo/picture alliance

टेस्ला की मुश्किलें और भी हैं

टेस्ला ब्रांड और इसके मालिक को निशाना बनाने वाली कई घटनाएं जर्मनी के बाहर भी हुई हैं. नीदरलैंड्स में टेस्ला के एक शोरूम में तोड़फोड़ हुई और वहां स्वास्तिक के निशान बनाने के साथ ही फासीवाद विरोधी नारे लिख दिए गए. यह घटना फरवरी के शुरुआत में हुई जिसकी खबर डच न्यूज ने दी थी.

पोलैंड के पर्यटन मंत्री स्लावोमिर नित्रास ने संभावित बहिष्कार का संकेत देते हुए कहा कि मस्क को "कड़ाई से जवाब देना जरूरी है."

बहिष्कार के असर को मापना फिलहाल मुश्किल है क्योंकि टेस्ला के सामने पहले ही यूरोपीय संघ में कई बाधाएं खड़ी हो गई हैं. टेस्ला के गाड़ियों की रेंज पुरानी हो चुकी है और अब मद्धिम पड़ चुके बाजार में उसके सामने प्रतिद्वंद्वी कारों का तूफान खड़ा है. टेस्ला ने इस स्थिति पर प्रतिक्रिया देने से इनकार कर दिया. हालांकि दुनिया के स्तर पर टेस्ला कारों की बिक्री स्थिर रही है.  ट्रंप के चुने जाने के बाद कंपनी के शेयरों की कीमत जरूर रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गई है.

जर्मन राजनीति में क्यों दखल दे रहे हैं मस्क

जनवरी के आखिर में स्वीडन के नोवस इंस्टिट्यूट ने ऑनलाइन सर्वे किया था. इंस्टिट्यूट से जुड़ी लेवा इंग्लुंड का कहना है, "आज टेस्ला एक ही सिक्के के दो पहलू है." उनका कहना है कि स्वीडन के लोग इस ब्रैंड के प्रति या तो सकारात्मक या फिर तटस्थ सोच रखते हैं. उन्होंने कंपनी के प्रयोगों की सफलता और पर्यावरण पर उसके असर की सराहना की है. 

माना जाता है कि टेस्ला की नजर मुख्य रूप से 35-49 साल के लोगों पर रहती है और इस आयु वर्ग के लोग ब्रांड के प्रति "सकारात्मक" रुख रखते हैं. हालांकि करीब एक साल से स्वीडन में हड़ताल कर रहे टेस्ला कर्मचारी के साथ और मस्क के ताजा कदमों ने बाकी लोगों की नजरों में उनकी नकारात्मक छवि बना दी है. टेस्ला के कर्मचारी बेहतर वेतन और काम की परिस्थितियों की मांग को लेकर हड़ताल पर हैं.

एनआर/आरआर (एएफपी, डीपीए)