अमेरिका को ज्यादा सामान बेच कर चिंता में पड़ा जर्मनी
७ फ़रवरी २०२५जर्मन सांख्यिकी एजेंसी डेस्टेटिस ने शुक्रवार को ताजा आंकड़े जारी किए. इनके अनुसार, अमेरिका के साथ जर्मनी का ट्रेड सरप्लस 71.4 अरब यूरो (74.1 अरब डॉलर) तक पहुंच गया है. ट्रेड सरप्लस का मतलब है कि जर्मनी ने अमेरिका को आयात की तुलना में निर्यात ज्यादा किया है.
इसके अलावा, अमेरिका ने जर्मनी के सबसे बड़े व्यापारिक भागीदार के रूप में चीन को पीछे छोड़ दिया. 2016 के बाद यह पहली बार हुआ है जब चीन जर्मनी का सबसे बड़ा व्यापारिक साझीदार नहीं था. जर्मनी और अमेरिका के बीच कुल व्यापार 255 अरब यूरो रहा, जबकि जर्मनी और चीन के बीच यह 247 अरब यूरो दर्ज किया गया.
ट्रंप के शुल्क खतरे से बढ़ा कारोबारी तनाव
ट्रंप लंबे समय से ईयू के ट्रेड सरप्लस की आलोचना करते रहे हैं. उनका आरोप है कि यूरोपीय संघ अनुचित व्यापार नीतियों का पालन कर रहा है. रविवार को, ट्रंप ने अपनी शुल्क नीति को और आक्रामक बनाते हुए चेतावनी दी, "यूरोपीय संघ के साथ यह निश्चित रूप से होगा. मैं आपको बता सकता हूं कि उन्होंने वास्तव में हमारा बहुत फायदा उठाया है.”
ट्रंप ने यूरोपीय ऑटोमोबाइल आयात और कृषि उत्पादों पर प्रतिबंध का विशेष रूप से जिक्र किया. उन्होंने कहा, "वे हमारी कारें नहीं लेते, वे हमारे कृषि उत्पाद नहीं लेते. वे लगभग कुछ भी नहीं लेते और हम उनसे सब कुछ लेते हैं.”
ट्रंप ने पहले ही चीन, मेक्सिको और कनाडा पर भारी शुल्क लगाए हैं. हालांकि उन्होंने हाल ही में मेक्सिको और कनाडा पर नए शुल्क एक महीने के लिए स्थगित कर दिए हैं. अब उनका ध्यान यूरोप पर केंद्रित हो गया है, जिससे संभावित व्यापार युद्ध को लेकर चिंता बढ़ गई है.
जर्मनी की अर्थव्यवस्था पर असर
अर्थशास्त्रियों का मानना है कि यदि अमेरिका ने नए शुल्क लगाए, तो जर्मनी की अर्थव्यवस्था को गंभीर झटका लग सकता है, जो पहले से ही निर्माण क्षेत्र की मंदी और दूसरी समस्याओं का सामना कर रही है.
आईएफडब्ल्यू कील आर्थिक संस्थान के क्लाउस-युर्गेन गर्न ने चेतावनी देते हुए कहा, "विशेष रूप से यह समस्या तब गंभीर हो सकती है यदि शुल्क केवल कुछ विशेष यूरोपीय उत्पादों पर लगाए जाते हैं, जो जर्मन निर्यात के लिए महत्वपूर्ण हैं, जैसे कि कारें, दवाएं और चिकित्सा उपकरण.”
2024 में जर्मनी के वैश्विक निर्यात में एक प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई, जो लगभग 16 खरब यूरो रहा, जबकि आयात 2.8 प्रतिशत कम हुआ. हालांकि, 241.2 अरब यूरो का सकारात्मक व्यापार संतुलन बना रहा, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि नए अमेरिकी शुल्क से यह लाभ प्रभावित हो सकता है.
यूरोपीय नेताओं की चेतावनी
ब्रसेल्स में यूरोपीय नेताओं ने ट्रंप की धमकियों पर कड़ा रुख अपनाया. यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला फॉन डेय लाएन ने कहा कि यूरोपीय संघ संभावित चुनौतियों के प्रति सतर्क है, लेकिन उन्होंने स्पष्ट किया कि ब्लॉक शुल्क के खिलाफ कड़ी प्रतिक्रिया देने के लिए तैयार है.
ईयू नेताओं ने बीते सोमवार एक अनौपचारिक बैठक के बाद कहा, "यूरोपीय संघ को अनुचित या मनमाने तरीके से निशाना बनाया गया, तो हम दृढ़ता से जवाब देंगे.”
यूरोपीय संघ की विदेश नीति प्रमुख काया कैलस ने भी चेतावनी दी कि अमेरिका और यूरोप के बीच व्यापार युद्ध से चीन को फायदा होगा. उन्होंने कहा, "अगर अमेरिका और यूरोप व्यापार युद्ध शुरू करते हैं, तो इसका फायदा उठाने वाला एकमात्र देश चीन होगा."
ईयू के राजनयिकों का कहना है कि वे अमेरिका की अगली कार्रवाई का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन अगर ट्रंप नए शुल्क लागू करते हैं तो यूरोप के पास भी जवाबी कदम उठाने के कई विकल्प उपलब्ध हैं.
अमेरिकी उपभोक्ताओं पर पड़ेगा असर
जर्मनी की विपक्षी पार्टी के नेता फ्रीडरिष मैर्त्स ने ट्रंप की रणनीति की आलोचना की. उन्होंने चेतावनी दी कि शुल्क आखिरकार अमेरिकी उपभोक्ताओं के लिए महंगे साबित होंगे. मैर्त्स को 23 फरवरी के जर्मन चुनावों में चांसलर पद का मजबूत दावेदार माना जा रहा है,
मैर्त्स ने कहा है, "ट्रंप को जल्द ही अहसास होगा कि उनके लगाए गए शुल्क का भुगतान अमेरिका में आयात करने वालों को नहीं, बल्कि अमेरिकी उपभोक्ताओं को करना होगा.”
फ्रांस के केंद्रीय बैंक के गवर्नर फ्रांसोआ विलेरॉय डे गैलो ने भी ट्रंप की नीति को "बहुत क्रूर” बताते हुए कहा कि यह यूरोपीय ऑटोमोबाइल उद्योग को भारी नुकसान पहुंचाएगी. उन्होंने कहा, "इस तरह के संरक्षणवादी व्यापार युद्ध में हर कोई हारता है."
ट्रंप ने मुख्य रूप से माल व्यापार घाटे को लेकर शिकायत की है, जो 2023 में 155.8 अरब यूरो ($159.5 अरब) था. हालांकि, सेवाओं के क्षेत्र में, अमेरिका का यूरोपीय संघ के साथ 104 अरब यूरो का व्यापार अधिशेष था. इसके बावजूद, ट्रंप का प्रशासन माल व्यापार संतुलन को प्राथमिकता देता दिख रहा है, जिससे जर्मनी का रिकॉर्ड अधिशेष भविष्य में अमेरिकी शुल्क नीतियों का मुख्य लक्ष्य बन सकता है.
अब जबकि दोनों पक्ष संभावित आर्थिक उथल-पुथल के लिए तैयार हो रहे हैं, यूरोपीय नेता संवाद और बातचीत का आह्वान कर रहे हैं, लेकिन साथ ही जवाबी कार्रवाई के लिए भी तैयार हैं. ट्रंप की अस्थिर व्यापार नीतियों के कारण दोनों पक्षों की कंपनियां अनिश्चितता में हैं.
वीके/एनआर (एएफपी, रॉयटर्स)